Tag: -पवन तलहन
ताश के पत्तों से भविष्यफल……………पवन तलहन—
ताश के पत्तों से भविष्यफल...............पवन तलहन---...
ताश के पत्तों से भविष्यफल------१-हूकुम, २-पान,३-ईंट, ४- चिड़िया!
ताश के पत्तों से भविष्य जानने की विधि--- ताश के पत्तों से भविष्य जानने के लिए ३२ पत्तों की...
*आइये बिज मन्त्रों की शक्ति को जाने***पवन तलहन—-***
********आइये बिज मन्त्रों की शक्ति को जाने***पवन तलहन----*******
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क्रीं, श्रीं, ह्रौं, दूँ, ह्रीं, ऐं, गं, हूँ,ग्लौं, स्त्रीं, क्षौं, वं, --इसी प्रकार कई "बीज" हैं, जो कि अपने-आप में ही मन्त्र स्वरुप हैं!
शं,...
**कुन्जलक [तोते के] द्वारा भगवान के शतनाम-स्तोत्र का वर्णन**पवन तलहन—*
**कुन्जलक द्वारा भगवान के शतनाम-स्तोत्र का वर्णन**पवन तलहन---***
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हम मनुष्य होकर भी नाम नहीं ले सकते! धन्य है कुन्जलक जी महाराज!
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कुन्जलक शतनाम-स्तोत्र
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नमाम्यहं हृषीकेशं केशवं मधुसूदनम !
सूदनं सर्वदैत्यानां नारायणमनामयम!!
जयन्तं विजयं कृष्णमनन्तं वामनं...
****योग***** -पवन तलहन *
*********योग***** -पवन तलहन ***********
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योग का आदर्श ---
योग द्वरा मनुष्य अपने स्वरुप सच्चिदानंद का अनुभव कर लेता है! योग का ध्येय वह तुरिय नामक परम आत्मा में स्थिति है, जिसमें जाग्रत, स्वप्न और...
****शिव-शंकर-महादेव *—–पवन तलहन—–
*********शिव-शंकर-महादेव *************
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नान्यद देवान्महादेवाद व्यतिरिक्तं प्रपश्यति !
तमेवात्मानमंवेति य: स याति परं पदम् !!
मन्यन्ते ये स्वमात्मानं विभिन्नं परमेश्वरात!
न ते पश्यन्ति तं देवं वृथा तेषां परिश्रम:!!
अर्थात----जो महादेव से भिन्न किसी दूसरे देवको नहीं जानता...
**भगवन नाम में रस********पवन तलहन **
****भगवन नाम में रस********पवन तलहन ********
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लोग कहते हैं , हम थक -हार कर घर आते हैं ! बोतल--आधी बोतल शराब पीकर थकावट उतारते हैं ...फिर दूसरे दिन नयादौर नयी बोतल ----फिर...
**द्वादश ज्योतिर्लिंगों के आख्यान*****-पवन तलहन ***
*द्वादश ज्योतिर्लिंगों के आख्यान*-पवन तलहन
***************************************एक बार मुनियों ने सूतजी से द्वादश ज्योतिर्लिंगों के माहात्म्य को जानना चाहा, तब सूट जी ने कहा--------
सौराष्ट्रे सोमनाथं च श्रीशैले मल्लिकार्जुनम !
उज्जयिन्यां महाकालमोंकारे परमेश्वरम!
केदारं हिमवत्प्रिष्ठे ...
****कब तक**????????-पवन तलहन
*****कब तक**????????-पवन तलहन
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-----सत्य को जानो---सत्य को पहचानो-----
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अरे भाई कब-तक शास्त्रों को अँधेरे में रख छोड़ेंगे?
कब-तक शास्त्रों को अंधेरों में पढोगे?
कब-तक शास्त्रों से मुंह फेरोगे?
कब-तक निंदा-स्तुति सुनोगे?
कब-तक शास्त्रों की बात कर...
**दु:स्वप्न-दोष-निवारण-मन्त्र********पवन तलहन—*
*दु:स्वप्न-दोष-निवारण-मन्त्र**पवन तलहन---
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ॐ अच्युतं केशवं विष्णु हरिं सत्यं जनार्दनम!
हंसं नारायणं चैव ह्येतन्नामाष्टकं शुभम!!
शुची: पूर्वमुख: प्राज्ञो दशकृत्वश्च यो जपत!
निष्पापोsभवेत्सोsपि दुस्वप्न: शुभवान भवेत्!!
अच्युत, केशव विष्णु, हरि, सत्य, जनार्दन,हंस और नारायण--इन आठ नामों का शुद्ध...
****ज्ञान-साधन और भगवन्नाम-जप*****पवन तलहन **
******ज्ञान-साधन और भगवन्नाम-जप*****पवन तलहन *****
*********!!सर्वशास्त्रबीज हरिनाम द्वि अक्षर !!**********
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"हरेर्नाम हरेर्नाम हरेर्नामैव केवलम!
कलौ नास्त्येव नास्त्येव नास्त्येव गतिरन्यथा!!"
भगवान वेदव्यास जी कहते हैं कि "कलियुग में हरिनाम के अतिरिक्त भवसागर से पार होने का...