गंड नक्षत्र पद(गंड मूल नक्षत्र प्रभाव/ असर—-)—विकास नागपाल 


बुध और केतु के नक्षत्र गंड मूल नक्षत्र कहलाते हैं, परन्तु इसके साथ साथ कुछ नक्षत्रो के पद अशुभ होते हैं, और उसका प्रभाव अन्य संबंधियो पर भी होता हैं इसकी जानकारी निम्नलिखित है :-
१) अश्विनी प्रथम पद :- पिता के लिए ३ महीने तक भारी, उपाय :- सोना दान दें |
२) भरणी :- बालक के लिए भारी २७ दिन तक
३) रोहिणी :-१) मामा पर भारी २)पिता पर भारी ३) माता पर भारी
४) पुष्य नक्षत्र लड़के का जन्म दिन में हो हो और कर्क लग्न हो :- पिता पर भारी
५) पुष्य नक्षत्र कन्या का जन्म रात्रि में हो और कर्क लग्न हो :- माता पर भारी
६) पुष्य नक्षत्र प्रथम पद :- मामा पर भारी
७) आश्लेषा २ पद जातक पर भारी, ३ पद माता पर भारी, ४ पद पिता पर भारी, उपाय :-भोजन का दान देना|
८) मघा का १ पद पिता पर ५ महीने के लिए भारी, उपाय : घोडा दान दें|
९) उत्तर फाल्गुनी १ और ४ पद माता पिता और भाई-बहन पर ३ महीने तक भारी|
१०) चित्रा का १,२ और ३ पद माता पिता और भाई-बहन पर ६ महीने तक भारी| उपाय: वस्त्र दान
११) विशाखा ४ पद देवर पर भारी |

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