इन आसन/सरल उपायों से मिलेगी पितृ दोष/कालसर्प दोष /योग से मुक्ति—
अगर आप की कुंडली में पित्रदोश या काल सर्प दोष है तो आप किसी विद्वान पंडित से इसका उपाय जरुर कराएँ..
आप खुद भी अपने कुंडली में देख सकते है की लग्न कुंडली में अगर रहू-केतु के बिच में सभी ग्रह हो तो काल सर्प दोष बनता है . और सूर्य के साथ राहू की युति (साथ) बनता है तो भी पित्र दोष बनता है,
अगर किसी के परिवार में अकाल मृत्यु होती है तो भी ये दोष देखने में आता है ….
आप इन सरल उपायों को खुद कर के अपने जीवन में लाभ उठा सकते है…ध्यान से अपनाएं..किसी योग्य आचार्य/पंडित की सलाह/मार्गदर्शन जरुर लेवें…
(.) पीपल और बरगद के वृ्क्ष की पूजा करने से पितृ दोष की शान्ति होती है . या पीपल का पेड़ किसी नदी के किनारे लगायें और पूजा करें, इसके साथ ही सोमवती अमावस्या को दूध की खीर बना,
पितरों को अर्पित करने से भी इस दोष में कमी होती है . या फिर प्रत्येक अमावस्या को एक ब्राह्मण को भोजन कराने व दक्षिणा वस्त्र भेंट करने से पितृ दोष कम होता है .
(२) आप शिवलिंग पर शर्पो का जोड़ा चांदी या ताम्बे का बनवाकर चधयेम, और रुद्रभिशेख करवाएं .
(.) प्रत्येक अमावस्या को कंडे की धूनी लगाकर उसमें खीर का भोग लगाकर दक्षिण दिशा में पितरों का आव्हान करने व उनसे अपने कर्मों के लिये क्षमायाचना करने से भी लाभ मिलता है.
(4) सूर्योदय के समय किसी आसन पर खड़े होकर सूर्य को निहारने, उससे शक्ति देने की प्रार्थना करने और गायत्री मंत्र का जाप करने से भी सूर्य मजबूत होता है.
(5) सोमवती अमावस्या के दिन पितृ दोष निवारण पूजा करने से भी पितृ दोष में लाभ मिलाता है ,
(6) अगर आप द्वादश ज्योतिर्लिंग का जाप करें तो महादेव मनुष्य को शुख-शांति प्रदान करते है
सोमनाथम ,मल्लिकर्जुना ,महाकालेश्वर , ओम्कारेश्वर , वैजनाथ , भीमाशंकर , रामेश्वरम, नागेश्वर ,विश्वनाथ , त्रयम्बकेश्वर,केदारनाथ, सिद्देश्वर
(7)सोमवती अमावश्य के दिन या नाग पंचमी पर या महाकालेश्वर मंदिर में जाकर इसकी शांति करें आप को अवश्य लाभ होगा ,
ॐ काल शर्पेभ्यो नमः… अगर कोए इस मंत्र को बोल कर कच्चे दूध को गंगाजल में मिलाकर उसमे काला तिल डाले और बरगद के पेड़ में दूध की धारा बनाकर ११ बार परिक्रमम करें ,
या शिवलिंग पर ॐ नमः शिवाय बोलकर चढ़ाये तो शार्प दोष से मुक्ति मिलेगी…