अमंगल से बचाते हैं ये असरदार गणेश मंत्र—-
हिन्दू धर्म में भगवान गणेश विघ्रहर्ता और बुद्धि दाता माना गया है। बुद्धि ही सही और गलत का निर्णय आसान बनाती है। सही निर्णय ही सफलता और लक्ष्य के करीब ले जाता है। सफलता यश और सम्मान देने वाली होती है, जो बाहरी और आंतरिक सुखों का कारण बनते हैं। इस तरह भगवान गणेश की उपासना सुख, सफलता देने वाली और दु:खनाशक है।
खासतौर पर प्रतियोगिता के इस दौर में धन और साधन संपन्नता ही नहीं, बल्कि बुद्धि बल से कोई भी इंसान अपनी काबिलियत को साबित कर सकता है। वहीं जीवन के कठिन दौर से बाहर आना भी बुद्धि से संभव है। यही कारण है कि शास्त्रों में बुद्धि की शुद्धि और अमंगल से बचने के लिए भगवान गणेश की उपासना शुभ फलदायी मानी गई है।
बुधवार का दिन भगवान गणेश की उपासना का विशेष दिन होता है। इसलिए यहां बताए जा रहे हैं श्री गणेश उपासना के वे मंत्र, जिनमें भगवान गणेश के अद्भुत स्वरूप और शक्ति का ऐसा ध्यान है, जिनसे मानस और बुद्धि पवित्र रहते हैं। सुबह और हर मुश्किल हालात में गणेश का यह ध्यान संकटनाशक माना गया है।
– प्रात: स्नान कर भगवान गणेश की प्रतिमा या तस्वीर पर लाल चंदन और लाल फूल, दूर्वा चढ़ाकर नीचे लिखे गणेश मंत्रों का पाठ करें —-
एकदंतं चतुर्हस्तं पाशमङ्कुशधारिणम्।
रदं च वरदं हस्तैर्विभ्राणं मूषकध्वजम्।।
रक्तं लंबोदरं शूर्पकर्णकं रक्तवाससम्।
रक्तगंधानुलिप्तांगं रक्तपुष्पै: सुपूजितम्।।
भक्तानुकंपिनं देवं जगत्कारणमच्युतम्।
आविर्भूतं च सृष्टयादौ प्रकृ‍ते: पुरुषात्परम्।
एवं ध्यायति यो नित्यं स योगी योगिनां वर:।।

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